गजपुट, वराहपुट, कुक्कुट पुट एवं सरावसम्पुट क्या होते है ? जानें इनकी आयुर्वेदिक परिभाषा

गजपुट, वराहपुट आदि पुट यंत्र होते है जो औषधियों की भस्म आदि करने के लिए अग्नि देने का एक प्रमाण होते है | यह आयुर्वेद की प्राचीन अग्नि देने की विधि जिसके उपयोग से विभिन्न खनिज, धातु, विष, उपविश आदि द्रव्यों की भस्म निर्माण किया जाता है | इस आर्टिकल में हम आपको गजपुट क्या है ? वराहपुट क्या होता है? कुक्कुट पुट एवं सरावसम्पुट आदि की संक्षिप्त जानकारी उपलब्ध करवाएंगे |

तो चलिए सबसे पहले जानते है गजपुट के बारे में

गजपुट क्या होता है ? / What is GajPuta in Hindi

गजपुट – लगभग एक गज चौड़ा (27 इंच) एवं एक गज गहरा (27 इंच) गड्डा खोदकर उसमे गोबर के उपले भरकर बीच में औषध के सम्पुट को रखकर अग्नि दि जाती है | गजपुट के लिए 2.5 हाथ का गोल गड्डा बनवाकर पक्की ईंटो से बंधवा लेने से 27 इंच लगभग का खड्डा तैयार हो जाता है |

गजपुट
गजपुट

खड्डे की गोलाई जितनी निचे हो, उससे ऊपर के भाग में 3 से 4 इंच कम रहना चाहिए | इस रीती से खड्डा तैयार होने पर अग्नि एक निश्चित प्रमाण में लगती है | इस विधि से बहत सी धातुओं की भस्म का निर्माण किया जाता है | गजपुट में सम्पुट (जिसमे भस्म करने वाली धातुएं रखी जाती है) के ऊपर एक से दो कन्डो की तह रखी जाती है | सम्पुट के स्वांगशीतल (अपने आप ठंडा) होने पर ही गजपुट में से निकाला जाता है |

वराहपुट क्या है ? / What is VarahPuta in Hindi

उपरोक्त विधि से ही जब 1 हाथ अर्थात 18 इंच चौड़ा एवं 18 इंच गहरा खड्डा करके उसमे अग्नि देने से यह वराहपुट कहलाता है | इस पुट में शंख, शुक्ति वराटिका, गोदंती एवं श्रंग आदि की भस्म का निर्माण किया जाता है | उपलों के जलने के पश्चात श्वांगशीतल होने पर शरावसम्पुट (जिसमे भस्म के द्रव्य रखे जाते है) को निकालकर भस्म का निर्माण किया जाता है |

कुक्कुटपुट किसे कहते है ? / What is KukkutPut in Hindi

कुक्कुट मुर्गे को कहा जाता है | जिस पुट की ऊंचाई मुर्गे की ऊंचाई के बराबर हो उसे कुक्कुटपुट कहते है | इस पुट में जमीन में कोई गड्डा नहीं खोदते, समतल भूमि पर ही 100 जंगली कन्डो को लेकर 70 औषध युक्त शरावसम्पुट के निचे एवं 30 शरावसम्पुट के ऊपर रखते है | उपलों को जमीन पर इस प्रकार व्यवस्थित करके रखते हैं कि दो बित्ता ऊँचा , चौड़ा एवं लम्बा हो | नीचे से अग्नि जलाकर औषध भस्म का निर्माण किया जाता है |

कुक्कुटपुट का प्रयोग वंग, रजत, स्वर्ण, नाग और मुक्त आदि की भस्म बनाने के लिए किया जाता है |

कपोतपुट क्या है ? / What is KapotPut in Hindi

यह लघुपुट है | इसमें अग्नि की मात्रा कम रहती है | कपोत से कबूतर पक्षी का ग्रहण किया जाता है | जो पुट कबूतर पक्षी के बराबर ऊंचाई वाला हो | उसे कपोतपुट कहते है | जमीन के ऊपर ही आठ वन्यउपलों का जो पुट दिया जाता है | उसे कपोत पुट कहते है | पारद के जारण एवं भस्म निर्माण के लिए प्रयोग किया जाता है |

सरावसम्पुट क्या है ? / What is SaravSamput in Hindi

दो मिटटी के सराव (मिटटी के सराव जो अर्धचंद्राकार होते है) समान नाप वाले लेकर | इसमें से एक में औषध रखी जाती है एवं दुसरे को इसके ऊपर औंधा रखा जाता है | इनकी संधि पर कपडमिटटी कर दि जाती है | इसके ऊपर थोड़ी – थोड़ी मिटटी लगाकर सुखा लिया जाता है | सरावसम्पुट करने के पहले सरावों की धाराएँ पत्थर पर जल डालकर, घिसकर चिकनी बना ली जाती है |

दोनों सरावों के किनारे चिकने एवं सामान रखने पड़ते है ताकि इनका बंधन अच्छे से हो सके |

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