अश्वगंधा पाक :- आयुर्वेद में अवलेह पाक कल्पना की दवाओं का अपना अलग स्थान है | ये दवाएं जहाँ खाने में स्वादिष्ट होती है वहीँ रोग पर भी उतनी ही प्रभावी रूप से कारगर होती है | पाक फॉर्म की दवाएं रुचिकर, ग्राह्यी व स्वादिष्ट होती है |
आयुर्वेद अवलेह – पाक कल्पना औषध निर्माण की एक विधि होती है जिसमे द्रव्यों के योग जैसे कवाथ, फाँट, स्वरस आदि को गाढ़ा करके चाटने योग्य या खाने योग्य बनाया जाता है | अश्वगंधा पाक, कौंच पाक, मुसली पाक, आम्र पाक एवं आर्द्रक पाक आदि इसके उदहारण है | ये दवाएं ग्रेनुल्स फॉर्म में बाजार में मिलती है |
अवलेह और पाक में क्या अंतर है ?
जो औषधि अवलेह-पाक विधि से तैयार की गई हो एवं चाटने योग्य हो वह अवलेह कहलाती है एवं जो अवलेह से कुछ गाढ़ी हो वह पाक कहलाती है |
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अश्वगंधा पाक क्या है ? / What is Ashwagandha Pak
अश्वगंधा के बारे में सभी लोग परिचित है | यह बल्य, गुणकारी, शक्तिवर्द्धक एवं वीर्य को पुष्ट करने वाला आयुर्वेदिक द्रव्य है | अश्वगंधा के साथ अन्य औषधियों को मिलाकर जब पाक रूप में दवा का निर्माण किया जाता है तो यह अश्वगंधा पाक कहलाता है |
वात पित्त प्रधान रोग, शुक्र की कमी, शारीरिक कमजोरी, प्रमेह, मूत्र विकार, धातु रोग आदि रोगों में अश्वगंधा पाक फायदेमंद आयुर्वेदिक औषधि है | इसके निर्माण में लगभग 26 प्रकार की जड़ी – बूटियों का इस्तेमाल किया जाता है | यहाँ निचे हमें अश्वगंधा पाक के घटक द्रव्यों का वर्णन किया है |
अश्वगंधा पाक के घटक द्रव्य / Ashwagandha Pak ingredients in Hindi
क्रमांक | जड़ी – बूटी का नाम | मात्रा |
01 | अश्वगंधा (प्रधान द्रव्य) | 480 ग्राम |
02 | गाय का दूध | 6 किलो |
03 | दालचीनी | 12 ग्राम |
04 | तेजपता | 12 ग्राम |
05 | नागकेशर | 12 ग्राम |
06 | इलायची | 12 ग्राम |
07 | वंशलोचन | 7 ग्राम |
08 | जायफल | 7 ग्राम |
09 | केशर | 7 ग्राम |
10 | मोचरस | 7 ग्राम |
11 | जटामांसी | 7 ग्राम |
12 | चन्दन | 7 ग्राम |
13 | खैरसार | 7 ग्राम |
14 | जावित्री | 7 ग्राम |
15 | पिप्पला मूल | 7 ग्राम |
16 | लौंग | 7 ग्राम |
17 | कंकोल | 7 ग्राम |
18 | पाढ़ | 7 ग्राम |
19 | अखरोट | 7 ग्राम |
20 | भिलावा | 7 ग्राम |
21 | सिंघाड़ा | 7 ग्राम |
22 | गोखरु | 7 ग्राम |
23 | रस सिंदूर | 7 ग्राम |
24 | अभ्रक भस्म | 7 ग्राम |
25 | नाग्भ्स्म | 7 ग्राम |
26 | वंग भस्म | 7 ग्राम |
27 | लौह भस्म | 7 ग्राम |
28 | चीनी | 3 किलो |
अश्वगंधा पाक बनाने की विधि / Making Procedure of Ashwagandha Pak
सर्वप्रथम अश्वगंधा का महीन बारीक़ चूर्ण करलिया जाता है | इस चूर्ण को गाय के 6 किलो दूध में अच्छी तरह पकाया जाता है | जब दूध गाढ़ा होने लगे तब इसमें दालचीनी, इलायची, तेजपता एवं नागकेशर मिलाया जाता है |
अब अन्य बची जड़ी – बूटियों (वंशलोचन से गोखरू तक) का भी महीन चूर्ण बना लिया जाता है | 3 किलो चीनी की चासनी बना कर सभी को इक्कठा इसमें मिलाकर ठंडा होने के लिए छोड़दिया जाता है |
अच्छी तरह ठंडा होने के पश्चात एयर टाइट डिब्बे में सहेज लिया जाता है | इस प्रकार से अश्वगंधा पाक का निर्माण होता है |
अश्वगंधा पाक के फायदे / स्वास्थ्य उपयोग / Ashwagandha Pak Benefits in Hindi
इसके सेवन से प्रमेह रोग नष्ट होता है | मूत्र की वृद्धि होती है एवं शरीर कांतियुक्त बनता है | यह पाक बल, वीर्य एवं इम्युनिटी को बढ़ाने वाला होता है | यह निम्न रोगों में फायदेमंद साबित होता है |
- वात – पित्त प्रधान रोगों में इसका विशेषकर उपयोग किया जाता है |
- शुक्र विकार में अश्वगंधा पाक अत्यंत फायदेमंद है |
- यह शुक्राणुओं की कमी में उपयोगी दवा है |
- इसके सेवन से धातु दुर्बलता दूर होकर धात गिरना एवं कमजोर धातु जैसी समस्याएँ दूर होती है |
- शरीर में वीर्य की वृद्धि करता है एवं बलवान बनता है |
- शीघ्रपतन को ठीक करने के लिए उत्तम दवा है |
- नपुंसकता एवं स्वप्नदोष जैसी कमजोरी में अश्वगंधा पाक लाभदायक होता है |
- यह कामोद्दीपक गुणों से युक्त है | इसके सेवन से सेक्स की इच्छा में वृद्धि होती है |
- दुबले पतले लोगों के लिए वरदान है | सर्दियों में इसका सेवन करने से कमजोर व्यक्ति मजबूत शरीर बना सकते है |
नुकसान / Side Effects
इस आयुर्वेदिक दवा का वैसे कोई ज्ञात दुष्प्रभाव नहीं है | यह सभी और से गुणकारी साबित होती है | लेकिन फिर भी आयुर्वेदिक वैद्य के दिशानिर्देशों में इसका सेवन करना चाहिए | अधिक मात्रा में सेवन करने से शरीर में गर्मी, जलन जैसी समस्याएँ हो सकती है | अत: निर्देशित मात्रा में ही सेवन करना चाहिए |
सेवन विधि / Dosage
अश्वगंधा पाक को 10 से 20 ग्राम तक की मात्रा में सेवन की जा सकता है | अगर यह बर्फी रूप में है तो इसको दूध के साथ 20 ग्राम तक सेवन कर सकते है | लेकिन आज कल बाजार में अश्वगंधा पाक पतंजलि, बैद्यनाथ, स्वदेशी आदि कंपनियों के ग्रानुल्स फॉर्म में उपलब्ध है |
अत; ग्रेनुल्स फॉर्म में आने वाले अश्वगंधा पाक को 10 ग्राम तक की मात्रा में दूध या शहद के साथ सेवन किया जा सकता है |
नोट – किसी भी आयुर्वेदिक औषधि का सेवन आयुर्वेदिक वैद्य, उपवैद्य आदि के दिशानिर्देशों में सेवन करना चाहिए |
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धन्यवाद |