ताड़ासन (Tadasana Yoga) योग – कैसे करे, इसके लाभ और सावधानियां |

ताड़ासन / Tadasana Yoga in Hindi

शरीर की लम्बाई बढ़ाने और मांसपेशियों को लचीला बनाने के लिए इस आसन का प्रयोग किया जाता है | ताड़ासन का संधि विच्छेद करने पर यह – ताड़ + आसन शब्दों से बना होता है | यहाँ ताड़ का अर्थ ताड़ के पेड़ से है और आसन का अर्थ योग आसन से है | अत: शाब्दिक अर्थो से समझें तो जो आसन शरीर को ताड़ के पेड़ की तरह लम्बा करने में मदद करे या जिसे अपनाने से ताड़ के पेड़ की आकृति बनती हो उसे ताड़ासन कहा जाता है | वैसे संस्कृत में ताड़ को पर्वत का पर्यायवाची भी कहा जाता है , जो लम्बाई का प्रतिक होता है |

ताड़ासन

बच्चों की हाईट बढ़ाने में यह आसन काफी फायदेमंद साबित होता है | नियमित रूप से अगर इस आसन को अपनाया जाये तो जिन बच्चों की लम्बाई नहीं बढती उन्हें काफी सहायता मिलती है | लेकिन शरीर को लम्बा करने की यह परिभाषा 21 – 22 साल तक के युवाओं पर ही लागू होती है | इससे अधिक उम्र के व्यक्ति इस आसन / Tadasan Yoga in Hindi से लम्बाई बढ़ने की कामना न करे |

ताड़ासन करने की विधि

  • सबसे पहले सावधान की अवस्था में खड़े हो जाए |
  • पैरों के अंगूठे और एडियाँ समानांतर ही रखे अर्थात दोनों पैरो को मिलाकर रखे |
  • शरीर को स्थिर रखे व धीरे – धीरे हाथों को ऊपर की तरफ सामानांतर ले जाए |
  • दोनों हाथों की अँगुलियों को आपस में मिलाकर हथेलियों को ऊपर की तरफ रखे |
  • अब धीरे – धीरे श्वास अन्दर लेते हुए अपनी एडियों को ऊपर उठाये और शरीर को पंजो पर स्थिर करे , अर्थात पूरा शरीर पंजो के बल खड़ा हो |
  • इस अवस्था में घुटने एवं जाँघों की मांसपेशियों को ऊपर खिंच कर रखे |
  • पेट को भी यथासंभव अन्दर करे व सीने को आगे निकाल कर रखे |
  • अब कुछ देर इस अवस्था में रुके |
  • वापस मूल अवस्था में आते समय श्वास छोड़ते हुए आये |
  • इस क्रिया को 8 से 10 बार दोहराएँ |

ताड़ासन के फायदे व लाभ

  • ताड़ासन लम्बाई बढाने का सबसे अच्छा योगासन है |
  • मांसपेशियों को मजबूत बनाने और शरीर को स्थिरता देने में भी इस आसन के काफी लाभ है |
  • जाँघों और घुटनों को मजबूत करता है |
  • रीड की हड्डी के विकारों में भी लाभदायक है |
  • स्लिप डिस्क से परेशान व्यक्तियों के लिए लाभदायक योगासन है |
  • कमर दर्द में फायदा देता है |
  • बढे हुए पेट को कम करने में काफी महत्वपूर्ण है |
  • स्त्रियों के लिए भी यह योगासन लाभकारी है | जिन महिलाओं का शुरूआती गर्भावस्था काल है तो उस समय अगर इस आसन का अभ्यास किया जाए तो स्वस्थ संतान होती है एवं महिला का गर्भावस्था काल भी अच्छे से व्यतीत होता है |
  • पैरों की मांसपेशियां मजबूत होती है |
  • ताड़ासन के पूर्ण आसन की स्थिति में उपर की तरफ देखे व मन में यह विचार करे की ऊपर कोई वास्तु है जिसे हमें पकड़ना है और हम पकड़ने वाले है | इस प्रकार करने से कई प्रकार के लाभ स्वत: ही शुरू हो जाते है |

ताड़ासन में बरती जाने वाली सावधानियां

  • हमेशां दोनों पैरों पर समान्तर वजन दे |
  • शरीर के संतुलन का ध्यान रखे |
  • सिरदर्द और लो ब्लड प्रेस्सर वाले रोगी इसे न करे |
  • पैर में चोट या कोई ऑपरेशन हुआ हो तो इसका अभ्यास न करे |
  • ताड़ासन करने के पश्चात शीर्षासन से सम्बंधित कोई आसन जरुर करे |

धन्यवाद |

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